सिवनी। विकासखंड कुरई बाघ की मौत जंगल में वन्यप्राणियों का शिकार करने फैलाए गए करंट की चपेट में आने से हुई है। 27 फरवरी शनिवार सुबह गोरखपुर बीट के जंगल में मिला बाघ का शव करीब पांच दिन पुराना है। बाघ की मौत को छिपाने के लिए शिकारियों ने शव को जंगल के एक गड्ढे में फेंक दिया था। संदिग्ध परिस्थितियां नजर आने पर मौके पर पहुंचे वन अधिकारियों ने जब पेंच नेशनल पार्क के डॉग स्क्वायड की मदद से सर्चिंग अभियान शुरू किया, तो प्रशिक्षित डॉग जंगल से शिकारियों को खोजता हुआ करीब एक किलोमीटर दूर फतेहपुर बस्ती में आरोपित किशोर कुमरे के घर के सामने आकर ठहर गया, इस दौरान घर में ताला लगा हुआ था। डॉग स्क्वायड के साथ मौजूद वन अमले ने बाद में आरोपितों को गांव से धरदबोचा। फतेहपुर निवासी गिरफ्तार दोनों आरोपित सगे भाई। आरोपित में किशोर कुमरे (33) व रमेश कुमरे (19) शामिल है। वन अमला छानबीन कर प्रकरण में शामिल अन्य आरोपितों की पतासाजी रहा है। जिले के दक्षिण सामान्य वनमंडल के वन परिक्षेत्र कुरई अंतर्गत गोरखपुर बीट के पीएफ 260 कम्पाटमेंट में बाघ का शव 27 फरवरी शनिवार सुबह गश्ती के दौरान वन अमले को मिला है। मृत बाघ वयस्क नर है, जिसकी उम्र करीब 10 साल होगी। फतेहपुर गांव से गोरखपुर बीट का जंगल लगा हुआ है। प्रारंभिक जांच के मुताबिक बस्ती के पास मौजूद 11केवी बिजली लाइन से करंटयुक्त तार जंगल में वन्यप्राणी का शिकार करने फैलाए गए थे, जिसकी चपेट में आकर वयस्क नर बाघ की मौत हो गई। जंगल के घटनास्थल से बिजली लाइन की दूरी करीब एक किलोमीटर के आसपास बताई गई है। अनुमान लगाया जा रहा है आरोपिता ने वन्यप्राणी का शिकार करने जंगल में एक किमी अंदर तक करंट फैलाया था।
प्रारंभिक जांच के मुताबिक नीलगाय अथवा हिरण का शिकार करने आरोपितों ने फतेहपुर बस्ती से करीब एक किलोमीटर जंगल में अंदर तक करंटयुक्त जीआई तार फैलाए थे, जिसकी चपेट में आने से वयस्क बाघ की मौत हो गई। बाघ की मौत करीब पांच दिन पहले हुई है। करंट से बाघ की मौत का पता चलने के बाद शिकारियों ने शव को जंगल के गड्ढे में फेंक दिया और मौके में फैलाया गया जीआई तार गायब कर दिए। घटना स्थल पर बाघ के करंटयुक्त तार के संपर्क में आने से हुए शार्ट सर्किट से मौके में जली सूखी घास, जीआई तार का टूटा टुकड़ा, करंट लगाने में उपयोग की गई खूटियां मिली हैं।
शव घसीटकर गड्ढे में फेंका – आरोपितों ने बाघ के शव को घटना स्थल से करीब 50 मीटर दूर एक गड्ढे में घसीटकर फेंका है। शव घसीटने के निशान जंगल में पाए गए है। बाघ के शरीर के बाल भी मौके में मिले है। मामले में चार से पांच आरोपितों के शामिल होने का अंदेशा जताया जा रहा है। पेंच नेशनल पार्क के वन्यप्राणी चिकित्सक डॉ. अखिलेश मिश्रा व दक्षिण वनमंडल के अधिकारियांे की मौजूदगी में पोस्ट मार्टम कराकर बाघ का शव एनटीसीए की गाइड लाइन के मुताबिक जला दिया गया है।
इस मामले में सीसीएफ सिवनी आरएस कोरी ने बताया कि बाघ की मौत के मामले में फतेहपुर गांव निवासी दो आरोपितों को गिरफ्तार कर प्रकरण में विस्तृत विवेचना की जा रही है। प्रारंभिक जांच में बाघ की मौत करंट से होने की साक्ष्य मिले है।
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