सिवनी। शासकीय भूमि पर बीपीएल कार्डधारियों द्वारा बनाये गये मकान को तोडऩे की कार्यवाही रोकने की मांग को लेकर तथा उक्त भूमि को आबादी भूमि घोषित किये जाने को लेकर लूघरवाड़ा के खसरा-नं.194/1रकबा-036 पर निवास करने वाले लोगों ने कलेक्टर को ज्ञापन प्रेषित किया है। तथा कार्यवाही रोकने की मांग की है।
लूघरवाड़ा निवासी राजेन्द्र पिता धनाराम, संतोष पिता जगदीश बागरी, जगदीश पिता गिनती बागरी, चैतराम पिता हरलाल, अजय पिता खूबचंद ढीमर, राधेश्याम पिता खुर्शीराम, अशोक पिता रामचरण, नंदराम पिता सोरा, तुलसा पिता दादूराम, कलशिया बाई पति इमरत ने कलेक्टर को दिये ज्ञापन में कहा है कि वह 30 वर्षो से कच्चा मकान बनाकर उक्त भूमि पर निवास कर रहे है। इस भूमि पर अनावेदकगणों द्वारा अपने मकानों का निर्माण कराया गया है। 22 सितम्बर 2017 को श्रवण अग्रवाल विरूद्ध संतोष एवं अन्य 12 में न्यायालय तहसीलदार सिवीन भाग 2 द्वारा आदेश पारित कर आवेदकगणों को बेदखल करने का आदेश पारित किया था। जिसके परिपेक्ष्य में आवेदकगणों द्वारा पूर्व में उक्त भूमि का पंचायत द्वारा आबादी घोषित किये जाने हेतु प्रस्तावित किये जाने की जानकारी तहसीलदार को दी गई थी। जिसके पश्चात आज दिनांक तक आवेदकगणों को उक्त भूमि से बेदखल नही किया गया था। किंतु अचानक आवेदकगणों को कब्जा हटाकर बेदखल किये जाने की कार्यवाही प्राप्त हुई है।
उल्लेखनीय है कि इस क्षेत्र में रहने वाले गरीब परिस्थिति के व्यक्ति है, और इनके पास इस मकान के अतिरिक्त जिले में कोई जमीन नही है। उक्त भूमि शासकीय चराईमद की भूमि है। गांव में आबादी भूमि रिक्त नही होने की वजह से पंचायत के संज्ञान में रहते हुए उक्त भूमि को आबादी भूमि घोषित किये जाने हेतु प्रस्तावित कर शासन को भेजा गया था। किंतु उस कोई कार्यवाही नही की गई।
प्राप्त जानकारी के अनुसार शासन के पत्रक/375/अ.भू.अ./रानि/ 2021 16 फरवरी 2021 को दखलरहित भूमि को आबादी घोषित किये जाने बाबत एक पत्र समस्त तहसीलदारों को जारी किया गया है। जिसमें आबादी क्षेत्र से समीप यदि दखलरहित भूमि पर बसाहटें है जो आबादी क्षेत्र में सम्मिलित नही है। तो ऐसी स्थिति में संहिता की धारा-243 के उपबंधों के आधिन दखलरहित भू को आबादी घोषित किये जाने की कार्यवाही की जा सकेगी। का निर्देश उल्लेख है।
गौरतलब है कि उक्त भूमि से लगा हुआ क्षेत्र की भूमि पर 1 लॉन है, जो अपनी सुंदरता के चलते गरीब लोगों को हटवाना चाहते है। चूंकि उक्त लॉन जाने के लिए इसी भूमि से रास्ते का उपयोग किया जाता है। एवं लॉन के मालिक रसूखदार है। जिसके चलते आवेदकगणों के मकानों को खाली कराकर उसका उपयोग स्वयं करना चाहते है। जबकि शासकीय भूमि से 2 सड़क दी गई है। एक से लॉन तक पहुंचने की व्यवस्था है, जिससे आवेदकगणों को कोई आपत्ति नही है। हाल ही में कलेक्टर डॉ.राहुल फटिंग ने 16 फरवरी 2021 को भू-अभिलेख सिवनी के तहत सिवनी, कुरई, बरघाट, केवलारी, लखनादौन, छपारा, घंसौर, धनौरा के तहसीलदारों को पत्र लिखकर मप्र भू-राजस्व संहिता 1959 (संशोधित 2018) की धारा-107 (1)(ख) के अनुसार ग्रामों की आबादी का नक्शा राज्य शासन द्वारा तैयार कराये जाने हेतु दिशा-निर्देश प्राप्त हुए है। आबादी का सर्वे कार्य ड्रोन के द्वारा किया जाना है। जिसमें केवल उन संपत्ति धारकों का अधिकार अभिलेख तैयार किया जायेगा, जो उक्त धारा के अनुसार लागू होने की दिनांक 25 सितम्बर 2018 को आबादी भूमि पर अधियोगी थे। अथवा जिन्हें इस दिनांक के पश्चात विधिपूर्वक आबादी भूमि में भू-खण्ड का आवंटन किया गया है।
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